आर्थिक पैकेज पर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की प्रेस कांफ्रेंस-
- गरीबों को अनाज और दालें बांटी गई।
- लॉकडाउन के कुछ घंटों बाद ही पैकेज का ऐलान किया।
- 41 करोड़ लोगों तक सीधे मदद पहुंचाई।
आर्थिक पैकेज पर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की प्रेस कांफ्रेंस-
- अगले कुछ दिन तक पैकेज के बारे में जानकारी दी जाएगी।
आर्थिक पैकेज पर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की प्रेस कांफ्रेंस-
- RBI ने बाजार में लिक्विडिटी बनाए रखी।
आर्थिक पैकेज पर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की प्रेस कांफ्रेंस-
- 15 हजार से कम सैलरी वालों को सरकारी सहायता।
- सैलरी का 24 परसेंट सरकार पीएफ में जमा करेगी।
आर्थिक पैकेज पर वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की प्रेस कांफ्रेंस-
- 2 लाख MSME को 20 हजार करोड़ से होगा फायदा। MSMEs के लिए मोदी सरकार के आर्थिक पैकेज में 6 अहम कदम
- Rs 3 लाख करोड़ कोलेट्रल फ्री लोन
- Rs 25 Cr तक के लोन, 100 Cr टर्न ओवर वालों को फायदा
- 4 साल के लोन, मोरिटोरियम 12 महीने
- 31 अक्टूबर 2020 तक, कोई गारंटी फीस नहीं
- 45 लाख यूनिट को फायदा होगा -
आत्म निर्भर भारत के पीएम ने 5 आधार स्तंभ बताए।हमारा ध्यान होगा-
लैंड, लेबर, लिक्विडिटी और लॉ पर। साथ ही लोकल ब्रांड बनाने और उन्हें ग्लोबल दर्जा देने व अंतरराष्ट्रीय सप्लाई चेन में शामिल करने पर जोर होगा।
भारतीय अर्थव्यवस्था में सबसे ज्यादा रोजगार देने वाले सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उद्योगों पर खास ध्यान। दो लाख से ज्यादा एमसएमई सेक्टर के उद्यमों को होगा फायदा 20 हजार करोड़ का तनाव ऋण मिलेगा। साथ ही तीन लाख करोड़ का कर्जा बिना गारंटी देने का प्रावधान।
- MSME को विस्तार के लिए 50 हजार करोड़।
- MSME के लिए 10 हजार करोड़ का फंड्स और फंड्स।
- ज्यादा टर्नओवर के बावजूद MSME का दर्जा ख़त्म नहीं होगा।
- ज्यादा निवेश के बावजूद MSME का दर्जा बना रहेगा।
- कारोबार ज्यादा होने पर भी MSME का फायदा मिलता रहेगा।
- एक करोड़ के निवेश वाली कंपनियां माइक्रो यूनिट होगी।
- 200 करोड़ तक का टेंडर ग्लोबल टेंडर नहीं होगा।
- हर आकार में MSME सरकारी टेंडर में भाग ले सकेंगे।
- MSME को ई-मार्केट से जोड़ा जाएगा।
- मौजूदा समय में MSME के लिए ट्रेड फेयर संभव नहीं।
- MSME के सरकार बकाये का भुगतान 45 दिन में होगा।
- जून, जुलाई, अगस्त तक कर्मचारियों को ई-पीएफ सरकार देगी।
- कंपनियां अब 12 की बजाय 10 फीसदी ई पीएफ जमा करेगी।
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- NBFC के लिए 30 हजार करोड़ की स्कीम।
- NBFC के लिए क्रेडिट गारंटी स्कीम।
- नगदी की कमी से जूझ रही बिजली कंपनियां।
- बिजली कंपनियों को 90 हजार करोड़ की सहायता।
- कंस्ट्रक्शन कंपनियों को 6 महीने की राहत मिलेगी।
- निर्माण और माल सेवा से जुड़े कामों में राहत।
- TDS और TCS को 25 फीसदी घटाया जाएगा।
- ऑडिट की तारीख बढ़ाकर 31 अक्टूबर की गई।
- इनकम टैक्स भरने की सीमा 30 नवंबर 2020 तक बढ़ाई।